स्पर्श के खेल

स्पर्श के खेल

sparsh ke khel

विमान छू 

मैदान मे खड़े स्वयंसेवक को बाद (out) करने वाला स्वयंसेवक दोनो हाथ कंधे को समांतर फैलाकर हाथ के पंजे से स्पर्श कर के बाद (out) करेगा। जो जो बाद (out) होता जाएगा वह खेल से बाहर होता जाएगा।


आगे कुआं पीछे खाई 

इस खेल में शिक्षक दो स्वयंसेवक को दाव (catcher) देने के लिये कहेंगे एक स्वयंसेवक जो भी खड़े हुए उनको छूने की कोशिश करेगा और दुसरा बैठे हुए स्वयंसेवक को छुने की कोशिश करेंगे । जो भी छुआ जाएगा वह बाद (out) हो कर खेल से बाहर होता जाएगा।


मित्र की रक्षा

तीन या अधिक स्वयंसेवक हाथ पकड़कर छोटा गोल बनाएंगे । चौथा  बीच में खड़ा रहेगा और पांचवां बच्चा गोल के बाहर खड़ा रहेगा । गोल के बाहर खड़े बच्चे को गोल के अंदर खड़े बच्चे के सिर पर स्पर्श करना होगा हाथ पकड़कर खड़े हुए तीन खिलाड़ी अंदर खड़े स्वयंसेवक की रक्षा करेंगे।


सूर्य नमस्कार से रक्षा 

मैदान में खड़े खिलाड़ियों को कोई एक खिलाड़ी बाद (out) करने जाएगा । स्पर्श से पहले अगर खेल खेलने वाला खिलाड़ी सूर्य नमस्कार की ५ या ६ स्थितियां कर लेगा तो जिसकी पारी है वह उसे स्पर्श नहीं कर पाएगा और अन्य किसी को बाद (out) करेगा । जिसे स्पर्श हो जाएगा वह खेल से बाहर हो जाएगा ।


मार के भागो

इस खेल में शिक्षक जिस स्वयंसेवक का नाम लेंगे उस को तुंरत स्पर्श कर के आपने जगह पर आना ।  अगर स्पर्श हुआ स्वयंसेवक पहले पहुंच जाता है तो वह विजयी होगा।


प्रणाम स्पर्श 

इस खेल में शिक्षक एक खिलाडी का चयन करेंगे वह खिलाडी प्रणाम की स्थिति में आएंगे और हाथ से सभी खिलाडी को स्पर्श करने की कोशिश करेंगे। जो जो बाद (out) होता जाएगा वह खेल से बाहर होता जाएगा।


समुह मे बचाव 

इस खेल में एक खिलाड़ी मैदान में अकेले रहने वाले को छुने की कोशिश करेंगे यदि किसी संयुक्त दल से उनको मिला लें तो छु नहीं सकते। जो जो बाद (out) होता जाएगा वह खेल से बाहर होता जाएगा।


परछाई स्पर्श 

एक स्वयंसेवक दुसरे स्वयंसेवक की परछाई को स्पर्श कर लेगा तो वह बाद होगा । जो जो बाद (out) होता जाएगा वह खेल से बाहर होता जाएगा।


विध्न स्पर्श

इस खेल में सभी मंडल के अंदर रहेंगे पकड़ने वाला लंगडी टांग से सभी को छूएगा और बाकी स्वयंसेवक अपने-अपने दोनों पैरों को पकड़ कर ही रहेंगे यदि उन्होंने पैरों को छोड़ा तो भी बाद माने जाएंगे। जो जो बाद (out) होता जाएगा वह खेल से बाहर होता जाएगा।


शतरंज खो 

इस खेल में सारे स्वयंसेवक जो मंडलाकार में खड़े होंगे उनको तीन तती में भाग करना है सारे स्वयंसेवक को जो तती में खड़े हैं उनको संख्या देनी है कोई भी एक संख्या बोलने पर तीनों तति की एक संख्या वाले स्वयंसेवक दौड़ेंगे और एक दुसरे को पकड़ने का प्रयत्न करेंगे जो स्वयंसेवक ने दूसरे को पकड़ लिया उसे अंक मिलेगा ।


अंतिम जोड़ी

 'अ' को छोडकर शेष स्वयंसेवक जोड़िया बनाकर उस के पीछे खड़े होंगे। शिक्षक द्वारा 'अन्तिम जोड़ी दौडो' कहने पर सबसे पीछेवाली जोड़ी हाथ छोड़कर दोनों ओर से भागते हुए 'अ' जिस रेखा पर खड़ा है, उससे आगे जाकर पुनः जोड़ी बनायेंगे। वे दोनों 'अ' के दोनो ओर की रेखा पर आने के बाद और उस रेषा के सामने पुनः जोड़ी बनाने के पूर्व 'अ' उन दोनों में से एक को छूएंगा। 'अ' के हाथ से बचकर वे दोनों जोड़ी बना सके तो वह जोड़ी अन्य जोडियों के आगे खडी होगी और तब  पुनः "अन्तिम जोड़ी दौडो" कहेगा। दोनों में से एक छूआ गया तो वह 'अ' होगा और पहला 'अ' उस जोड़ी में मिल कर आगे खड़ा होगा।


झुंड में रहो

इस खेल में एक खिलाड़ी मैदान में अकेले रहने वाले को छुने की कोशिश करेंगे यदि किसी संयुक्त दल से उनको मिला लें तो छु नहीं सकते। जो जो बाद (out) होता जाएगा वह खेल से बाहर होता जाएगा।


करंट खो

इस खेल में दो स्वयंसेवक की जोड़ी में खड़े रहेंगे और दोनो हाथ पकड़ के रखेंगे एक स्वयंसेवक भागेगा दूसरा पकड़ेगा भागने वाला स्वयंसेवक जो है वह किसी भी एक जोड़ी के पास आकर अगर स्वयंसेवक दाहिना हाथ पकड़ता है तो उसकी बाई ओर वाला स्वयंसेवक भागेगा और उसी तरह दूसरे खिलाडी का बाया हाथ पकड़ता है तो उसकी दाहिनी और वाला स्वयंसेवक भागेगा ।


गुरू शिष्य 

एक गुरु मंडल में बैठे होगे  उनके पास दो शिष्य रहेंगे दो शिष्य जिस किसी स्वयंसेवक को गुरु के पास लेंके जाएंगे तथा वह स्वयंसेवक खुद को बचाएगा और गुरु जिस स्वयंसेवक के मस्तक पर हाथ लगायेगे वह खेल से बाहर हो जाएंगे।


हाथी की सूंढ़

इस खेल में सभी साथी मंडल के अंदर होंगे एक साथी मंडल के बाहर से हाथी की सूंढ़ बना कर अंदर के स्वयंसेवको को छू कर आउट करेगा ( ध्यान रहे अंदर वाले साथी भागेंगे नही वह केवल कमर पर साथ रख कर कूद करके जा सकते है)


वाह रे बुद्धू वाह रे शेर

इस खेल में दो खिलाड़ी अंदर मंडल के अंदर रहेंगे अंदर वाले खिलाड़ी में से एक खिलाड़ी नीचे बैठेगा ओर दूसरा उसके पास खड़ा रहेगा और बैठे वाले के  सिर पर हाथ एक हाथ स्थाई रूप से रखेगा ओर दूसरे हाथ से बाकी साथियों को आउट करेगा (आउट करते समय यदि छूने वाला का हाथ उसके साथी के सर से उठा तो foul माना जायेगा) मंडल पर साथी नीचे बैठे वाले को पीठ पर मुक़ा मारेंगे ओर कहेंगे वाह रे बुद्धू और खड़े वाले कि कि पीठ पर मुक्का मारने पर वाह रे शेर कहेंगे।


भस्मासुर प्रकार 2

इस खेल में सभी स्वयंसेवक अपना बायां हाथ अपनी जेब में रखेंगे, एक स्वयंसेवक अन्य स्वयंसेवक को छूने जाएगा और उसके सिर पर अपना दाहिना हाथ रखकर उस स्वयंसेवक को खेल में से आउट करेगा ऐसे ही खेल के सारे स्वयंसेवक जब तक आउट ना हो जाए तब तक यह खेल जारी रहेगा।


तीन पैरो की जोड़ी 

इस खेल में दो स्वयंसेवक को के पैर में रुमाल से बांध दिया जाता है। और बाकी स्वयंसेवकों की जोड़ियां बना दी जाती है। और जो स्वयंसेवकों के पैरों को रुमाल से बंधा है। वह स्वयंसेवक अन्य स्वयंसेवकों को छुने जाएंगे जिस स्वयंसेवकों को छू ले वह खेल से आउट हो जाएंगे।


गतिमान

चौड़ी दो समानांतर रेखाएं बनाने के बाद शिक्षक एक खिलाड़ी को रेखा के ऊपर खड़ा करेंगे | आज्ञा मिलते ही एक खिलाड़ी लंबी सांस लेकर छह बार मूल रेखा से सामने वाली रेखा को स्पर्श करके मूल रेखा पर वापस आएगा।


उल्टा सुलटा

इस खेल में दो स्वयंसेवकों की जोड़ी बनेगी जिसमें दो स्वयंसेवक एक सीधा रहेगा एक उल्टा रहेगा  हाथ पकड़कर जोड़ी बना लेंगे और एक जोड़ी अन्य जोड़ियो को छूने जाएगी जैसे जैसे जोड़ी छुई जाएंगी। वह जोड़ी आउट हो जाएगी।


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